ये नाम नही किसी वस्तु या
व्यक्ति का,
ये भयंकर रोग बना इस सृष्टि का |
ये रोग लोगो को बताना होगा,
संसार को इस रोग से मुक्त कराना होगा |
ये रोग ऐसी एक बला है,
जिससे व्यक्ति मर मर पला है |
मरना तो छोड़ो, सोचो ! वह केसे जिया होगा,
गुमनामी और असहायों का जीवन उसने लिया |
लोगो से मिला उसे भेदभाव,
ज़िन्दगी में पड़ा उसे भयंकर पड़ाव |
रोग ने उसे अच्छे से तोडा होगा,
बीमारी से भाग उसने सब जग छोड़ा होगा |
जिन्दगी लगती है उसे भारी,
खत्म हो जाती उसकी दिनचयी सारी |
कईयों का परिवार इसके कारण बिछड़ा होगा,
कईयों का रिश्ता टूटा, कईयों ने
तोडा होगा |
कितनी जनसंख्या इस में है फंसी,
इसी ने लूट ली सभी की हंसी |
चलो आज संकल्प करे
"इस संसार
को एड्स मुक्त कराना होगा,
और संसार को खुशहाल बनाना होगा |"